3rd Grade Teacher Promotion And Bharti: राजस्थान में लंबे समय से तृतीय श्रेणी शिक्षकों की पदोन्नति को लेकर जटिलताएं बनी हुई थीं पिछले पांच वर्षों से यह प्रक्रिया लगभग स्थगित थी, जिससे न केवल शिक्षकों का मनोबल प्रभावित हुआ बल्कि शिक्षा व्यवस्था पर भी इसका प्रतिकूल असर पड़ा अब सरकार द्वारा इस दिशा में ठोस कदम उठाया गया है
सुप्रीम कोर्ट में लंबित मामले से जुड़ी विशेष अनुमति याचिका (एसएलपी) को वापस लेने का निर्णय लिया गया है, जिससे पदोन्नति की राह साफ हो गई है इस नीति-निर्णय से लगभग 20,000 तृतीय श्रेणी शिक्षक वरिष्ठ अध्यापक के पद पर पदोन्नत होंगे।
यह परिवर्तन राज्य में शिक्षकों की कार्यदशा और शिक्षा के स्तर को सुधारने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम के रूप में देखा जा रहा है इससे न केवल योग्य शिक्षकों को उनके कार्य का उचित प्रतिफल मिलेगा, बल्कि उच्च शिक्षा गुणवत्ता की दिशा में भी मजबूती आएगी।
नई तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती से बेरोजगारों को मिलेगा अवसर
राज्य सरकार द्वारा तृतीय श्रेणी शिक्षकों के लिए 20,000 नई भर्तियों की घोषणा की गई है यह निर्णय प्रदेश के उन लाखों युवा अभ्यर्थियों के लिए नई आशा लेकर आया है जो शिक्षक बनने की प्रतीक्षा कर रहे थे पिछली बार वर्ष 2022 में जब इस श्रेणी में भर्ती हुई थी, तब 48,000 पदों पर नियुक्ति की गई थी, जिसमें लेवल वन और लेवल टू दोनों को शामिल किया गया था लेकिन इस बार पदों की संख्या घटाकर 20,000 कर दी गई है, फिर भी इसकी मांग और प्रतिस्पर्धा उतनी ही तीव्र रहने की संभावना है।
अब तक लगभग 6.6 लाख अभ्यर्थी पात्रता परीक्षा पास कर चुके हैं और अगले चरण की भर्ती प्रक्रिया का इंतजार कर रहे हैं जनवरी में होने वाली संभावित भर्ती परीक्षा में इन्हीं अभ्यर्थियों को शामिल किया जाएगा हालांकि अभी लेवल वन और लेवल टू के तहत कितने पद आरक्षित होंगे, इस पर आधिकारिक सूचना जारी नहीं की गई है।
स्टाफिंग पैटर्न में बदलाव से शिक्षा व्यवस्था को मिलेगा नया ढांचा
राज्य सरकार द्वारा एक और महत्वपूर्ण निर्णय लिया गया है, जिसमें स्कूलों के लिए स्टाफिंग पैटर्न को पुनः लागू किया जा रहा है पिछली बार यह व्यवस्था वर्ष 2014 में प्रभावी की गई थी नई शिक्षा नीति और लगातार बदलते शैक्षणिक ढांचे को देखते हुए अब नए कैडर भी बनाए जा रहे हैं यह स्टाफिंग पैटर्न भविष्य की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए तैयार किया जा रहा है ताकि प्रत्येक विद्यालय में आवश्यकतानुसार पद सृजित किए जा सकें।
इस बदलाव से यह सुनिश्चित होगा कि स्कूलों में शिक्षकों की संख्या पर्याप्त हो और किसी भी कक्षा में अधूरी शिक्षक व्यवस्था न रह जाए शिक्षा सचिव कृष्ण कुणाल के अनुसार इस प्रक्रिया से शिक्षकों की स्थायी नियुक्ति को गति मिलेगी और रिक्त पदों की संख्या में भारी कमी आएगी।
आरपीएससी द्वारा वरिष्ठ अध्यापक और व्याख्याताओं की भर्ती में तेजी
राजस्थान लोक सेवा आयोग द्वारा 4431 पदों पर नई भर्ती प्रक्रिया आरंभ की जा रही है, जिसमें वरिष्ठ अध्यापक के 2129 और व्याख्याता के 2202 पद शामिल हैं वर्तमान में वरिष्ठ अध्यापक के कुल 1,19,542 स्वीकृत पदों में से 37,229 पद रिक्त हैं इसी प्रकार व्याख्याताओं के लिए 57,194 स्वीकृत पदों में से 18,651 पद खाली हैं यह स्थिति दर्शाती है कि शिक्षकों की नियुक्ति में अब तक जो भी देरी हुई है, उसका तत्काल समाधान आवश्यक है।
सरकार इस दिशा में सक्रिय है और डीपीसी के माध्यम से शेष रिक्त पदों को भरने की योजना पर कार्य हो रहा है यह निर्णय शिक्षकों के संगठनों की मांगों के अनुरूप है, जिन्होंने लंबे समय से रिक्त पदों को शीघ्र भरने की मांग की है।
21000 प्रक्रियाधीन पदों में और बढ़ोतरी की संभावना
वर्तमान में शिक्षा विभाग द्वारा लगभग 21,000 पदों पर भर्ती प्रक्रियाधीन है मुख्यमंत्री द्वारा दिए गए निर्देशों के अनुसार, 31 मार्च 2026 तक रिक्त होने वाले पदों को ध्यान में रखते हुए इन पदों में 50 प्रतिशत की बढ़ोतरी की जा सकती है इससे यह सुनिश्चित होगा कि आने वाले वर्षों में शिक्षक पदों की रिक्तता न्यूनतम हो।
यह योजना भविष्य की आवश्यकता को देखते हुए बनाई गई है, क्योंकि एक भर्ती प्रक्रिया को पूर्ण होने में कम से कम एक वर्ष का समय लगता है इसलिए सरकार पहले से ही अतिरिक्त पदों को जोड़ने की योजना बना रही है, जिससे वर्ष 2027 तक सभी आवश्यक पद भरे जा सकें।
इस समग्र योजना और निर्णयों के माध्यम से राज्य सरकार ने यह स्पष्ट संकेत दिया है कि शिक्षा को प्राथमिकता दी जा रही है और शिक्षकों की स्थिति को सुदृढ़ करने की दिशा में ठोस प्रयास किए जा रहे हैं इससे न केवल शिक्षा व्यवस्था में स्थिरता आएगी, बल्कि भावी पीढ़ी को भी बेहतर शैक्षणिक वातावरण प्राप्त होगा।