उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने प्रदेश के युवाओं को डिजिटल दुनिया में महारत हासिल कराने के लिए एक बड़ी सौगात दी है। अब महंगी कंप्यूटर कोचिंग का खर्च उठाने की चिंता खत्म हो गई है। सरकार ने एक ऐसी योजना शुरू की है, जिसके तहत न केवल ‘ओ-लेवल’ और ‘सीसीसी’ जैसे प्रोफेशनल कंप्यूटर कोर्स पूरी तरह से मुफ्त कराए जाएंगे, बल्कि ट्रेनिंग करने वाले छात्रों को ₹15,000 तक की सीधी आर्थिक सहायता भी दी जाएगी। यह कदम प्रदेश के उन होनहार युवाओं के लिए एक सुनहरा अवसर है जो पैसों की कमी के चलते आधुनिक कौशल सीखने से वंचित रह जाते थे।
क्यों है यह योजना युवाओं के लिए एक गेम-चेंजर?
आज के दौर में लगभग हर अच्छी नौकरी के लिए कंप्यूटर का ज्ञान अनिवार्य है। प्राइवेट संस्थान इन्हीं कोर्स के लिए हजारों रुपये वसूलते हैं, जो कई परिवारों के लिए एक बड़ा बोझ होता है। योगी सरकार की यह योजना इसी बाधा को दूर करती है। इसका सीधा मकसद अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों के बच्चों को तकनीकी रूप से सशक्त बनाना है ताकि वे भी डिजिटल इंडिया की मुख्यधारा से जुड़कर अपने लिए बेहतर भविष्य बना सकें। यह सिर्फ एक कोर्स नहीं, बल्कि आत्मनिर्भरता की ओर एक मजबूत कदम है।
जानें क्या है O-लेवल और CCC कोर्स, और कितनी मिलेगी आर्थिक मदद
इस योजना के तहत दो तरह के कोर्स पर फोकस किया गया है, जिनकी इंडस्ट्री में काफी मांग है।
O-लेवल कोर्स (O-Level Course)
यह एक साल का डिप्लोमा कोर्स है, जिसे करने पर छात्र सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट, वेब डिजाइनिंग और नेटवर्किंग की गहरी समझ हासिल करते हैं। इस कोर्स को करने वाले पात्र छात्रों को सरकार की तरफ से ₹15,000 की वित्तीय सहायता दी जाएगी।
सीसीसी कोर्स (CCC – Course on Computer Concepts)
यह तीन महीने का एक बेसिक कोर्स है, जो सरकारी नौकरियों में अक्सर मांगा जाता है। इसमें छात्रों को ऑफिस ऑटोमेशन, DTP और टैली जैसे प्रैक्टिकल स्किल्स सिखाए जाते हैं। इस कोर्स के लिए सरकार ₹3,500 की मदद प्रदान करती है।
कौन उठा सकता है इस योजना का लाभ? पात्रता की पूरी जानकारी
सरकार ने इस योजना का लाभ सही लोगों तक पहुंचाने के लिए कुछ मानदंड तय किए हैं। आवेदन करने से पहले यह सुनिश्चित कर लें कि आप इन शर्तों को पूरा करते हैं:
- आवेदक उत्तर प्रदेश का मूल निवासी होना चाहिए।
- छात्र या छात्रा का अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) से संबंधित होना अनिवार्य है।
- आवेदक को कम से कम 12वीं (इंटरमीडिएट) पास होना चाहिए।
- पारिवारिक वार्षिक आय ₹1 लाख से अधिक नहीं होनी चाहिए।
कैसे करें आवेदन? समझें पूरी प्रक्रिया, आखिरी तारीख नजदीक
योजना का लाभ उठाने के लिए आवेदन प्रक्रिया को बेहद सरल रखा गया है, लेकिन समय सीमा का ध्यान रखना बेहद जरूरी है।
सबसे पहले, इच्छुक युवाओं को पिछड़ा वर्ग कल्याण विभाग के आधिकारिक पोर्टल https://obccomputertraining.upsdc.gov.in/ पर जाकर ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करना होगा। फॉर्म में अपनी सभी जानकारी सही-सही भरें। ऑनलाइन आवेदन पूरा करने के बाद, उसका प्रिंटआउट (हार्डकॉपी) निकालें और उसके साथ अपने सभी जरूरी दस्तावेज (जैसे- जाति प्रमाण पत्र, आय प्रमाण पत्र, शैक्षिक योग्यता के प्रमाण पत्र) लगाकर अपने जिले के ‘जिला पिछड़ा वर्ग कल्याण अधिकारी’ के कार्यालय में जमा कराएं। ध्यान रहे, आवेदन की अंतिम तिथि 21 जुलाई है और हार्डकॉपी भी इसी तारीख को शाम 5 बजे तक जमा हो जानी चाहिए।
चयन प्रक्रिया और ट्रेनिंग की शुरुआत
आवेदनों की जांच के बाद, जिलाधिकारी की अध्यक्षता में बनी एक समिति पात्र उम्मीदवारों का चयन करेगी। यह प्रक्रिया 31 जुलाई तक पूरी कर ली जाएगी। चयनित छात्रों को 1 अगस्त से 5 अगस्त के बीच आवंटित संस्थानों में दाखिला मिलेगा और 6 अगस्त से उनकी ट्रेनिंग शुरू हो जाएगी। सरकार ने इस साल योजना के लिए 35 करोड़ रुपये का भारी-भरकम बजट आवंटित किया है और प्रदेश भर में 299 संस्थानों को ट्रेनिंग देने के लिए चुना है, ताकि ज्यादा से ज्यादा युवाओं को इसका लाभ मिल सके।
यह योजना सिर्फ एक फ्री कोर्स नहीं, बल्कि यूपी के युवाओं को नौकरी के लिए तैयार करने और उन्हें आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाने का एक मिशन है। अगर आप पात्र हैं, तो इस मौके को हाथ से न जाने दें।